सांपला (रोहतक): सोमवार को जींद से दिल्ली जा रही एक पैसेंजर ट्रेन में अचानक विस्फोट होने से एक बोगी में आग लग गई, जिससे चार यात्री झुलस गए। यह घटना सांपला स्टेशन के पास हुई और इसके बाद इलाके में अफरा-तफरी मच गई। दमकल कर्मचारियों ने सवा घंटे की मेहनत के बाद आग पर काबू पाया।
विस्फोट के कारण
सामान्यत: यह ट्रेन लगभग चार बजे जींद से रवाना हुई थी। जैसे ही ट्रेन सांपला के आउटर पर पहुंची, अचानक एक जोरदार धमाका हुआ। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, आग शॉर्ट सर्किट के कारण लगी, जिसमें पटाखों ने आग को तेजी से भड़काने में मदद की। ट्रेन में मौजूद कुछ यात्रियों ने आग बुझाने का प्रयास किया, लेकिन स्थिति नियंत्रण से बाहर हो गई।
घायलों की स्थिति
विस्फोट के चलते चार यात्री झुलस गए और उन्हें तुरंत नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया। उन्हें गंभीर चोटें आई हैं, और उनकी स्थिति पर डॉक्टर निगरानी रखे हुए हैं।
घटनास्थल पर राहत कार्य
घटना के तुरंत बाद, रेलवे और स्थानीय पुलिस की टीमें घटनास्थल पर पहुंचीं। दमकल विभाग ने आग बुझाने का काम शुरू किया और लगभग 10 मिनट तक बोगी आग की लपटों में घिरी रही। अग्निशामक दल ने बोगी में आग बुझाने के लिए काफी मेहनत की और अंततः सवा घंटे में आग पर काबू पाया।
दिल्ली से एक विशेषज्ञ टीम भी घटनास्थल पर भेजी गई थी, जिसने स्थानीय लोगों से बातचीत कर घटना के बारे में जानकारी जुटाई। प्रारंभिक जांच में पता चला कि ट्रेन में कोई व्यक्ति गंधक-पोटाश लेकर जा रहा था, जिससे विस्फोट हुआ। इस मामले की जांच के लिए बम निरोधक टीम को भी मौके पर बुलाया गया था।
पुलिस का बयान
रेलवे पुलिस के सब-इंस्पेक्टर संदीप राठी ने बताया कि मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच शुरू कर दी गई है। यदि किसी भी व्यक्ति की लापरवाही सामने आती है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
दिवाली से पहले का खतरनाक मंजर
इस विस्फोट ने दिवाली के समय पर यात्रियों के बीच खौफ पैदा कर दिया है। इस घटना ने यह संकेत दिया है कि सुरक्षा इंतजामों में और सुधार की आवश्यकता है, खासकर त्योहारों के दौरान जब यात्रा का दबाव अधिक होता है।
अंत में
इस घटना ने एक बार फिर रेलवे की सुरक्षा को लेकर सवाल उठाए हैं। यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करना रेलवे की प्राथमिकता होनी चाहिए। हमारी सुरक्षा एजेंसियों को इस प्रकार के मामलों से निपटने के लिए तत्पर रहना चाहिए, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं से बचा जा सके।